राज्यसभा में विपक्ष के उपनेता ने मनरेगा योजना में मोदी सरकार द्वारा महात्मा गांधी का नाम हटाये जाने को लेकर किया हमला
फास्ट न्यूज इंडिया यूपी लालगंज, प्रतापगढ़। राज्यसभा में विपक्ष के उपनेता प्रमोद तिवारी ने केन्द्र की महत्वपूर्ण एवं महत्वाकांक्षी योजना महात्मा गांधी ग्रामीण रोजगार गारण्टी अधिनियम में मोदी सरकार द्वारा राष्ट्रपिता महात्मा गांधी का नाम हटाये जाने को घोर आपत्तिजनक कहा। सांसद प्रमोद तिवारी ने कहा है कि वर्ष 2009 में यूपीए सरकार ने देश की सबसे बड़ी रोजगारपरक योजना को राष्ट्रपिता महात्मा गांधी का नाम जोड़ते हुए कृतज्ञ राष्ट्र की ओर से गांधी जी की स्मृति को नमन किया। उन्होने कहा कि तत्कालीन यूपीए सरकार की चेयरपर्सन सोनिया गांधी की पहल पर इस महत्वपूर्ण रोजगार गारण्टी योजना का देश में सुखद संचालन शुरू हुआ। उन्होने कहा कि भाजपा की सरकार द्वारा योजनाओं, कार्यालयों, भवनों का नाम रोज रोज बदला जा रहा है। उन्होने सवालिया अंदाज में कहा कि आखिर भारतीय जनता पार्टी को आखिर महात्मा गांधी के नाम से इतनी चिढ़ क्यो है? उन्होने कहा कि भाजपा गांधी की विचारधारा की जगह गोड़से की विचारधारा को ही सदैव बढ़ावा देती आ रही है। कांग्रेस सांसद प्रमोद तिवारी ने कहा कि महात्मा गांधी पूरी दुनिया में एक हैं और पूरी दुनिया आज महात्मा गांधी की विचारधारा को नतमस्तक कर रही है। उन्होने कहा कि राजनैतिक हताशा और कुण्ठा में मनरेगा से महात्मा गांधी का नाम हटाये जाने को देशवासी कभी मोदी सरकार को क्षमा नही करेंगे। वही उन्होने पहलगाम आतंकवादी हमले के सही दोषियों का अब तक पता न लगा पाने और उन्हें उनके अक्षम्य अपराध की कठोर सजा न दिला पाने को लेकर भी मोदी सरकार को सवालों के कटघरे में खड़ा किया है। उन्होने कहा कि केन्द्र शासित कानून व्यवस्था के रहते उस समय निर्दोष भारतीयों को आतंकवादियों के सामने जान की बाजी गंवानी पड़ी। सांसद प्रमोद तिवारी ने कहा है कि मोदी सरकार राष्ट्रीय मसलों को हल करने की जगह सिर्फ देश की जनता का ध्यान बरगलाने की कोशिश मे लगी हुई है। राज्यसभा सदस्य प्रमोद तिवारी का बयान सोमवार को मीडिया प्रभारी ज्ञानप्रकाश शुक्ल के हवाले से निर्गत हुआ है। रिपोर्ट विशाल रावत 151019049
