"महामहिम राज्यपाल का करुणामय व्यक्तित्व और शिक्षा-उत्कर्ष के प्रति अपूर्व निष्ठा" कुलपति प्रो बिहारी लाल शर्मा
वाराणसी। उत्तर प्रदेश की महामहिम राज्यपाल एवं प्रदेश के सभी राज्य विश्वविद्यालयों की समादरणीया कुलाधिपति श्रीमती आनंदीबेन पटेल जी के जन्मदिवस के पावन अवसर पर सम्पूर्णानन्द संस्कृत विश्वविद्यालय, वाराणसी की ओर से अत्यंत गरिमापूर्ण, भावपूर्ण और औपचारिक शुभकामना संदेश जारी किया गया।
उक्त विचार संदेश विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो॰ बिहारी लाल शर्मा ने समस्त विश्वविद्यालयीय समुदाय की ओर से शुभकामनाएँ प्रेषित करते हुए कहा कि महामहिम का दूरदर्शी नेतृत्व, प्रशासनिक दक्षता, करुणामय व्यक्तित्व और शिक्षा-उत्कर्ष के प्रति उनकी अपूर्व निष्ठा ने उत्तर प्रदेश की उच्च शिक्षा प्रणाली को नई दिशा, नयी गति एवं अकादमिक उत्कृष्टता के नए क्षितिज प्रदान किए हैं।
कुलपति प्रो. शर्मा ने कहा कि महामहिम राज्यपाल ने जिस संवेदनशीलता, प्रतिबद्धता और निष्ठा के साथ विश्वविद्यालयों में गुणवत्तापरक सुधार, पारदर्शी प्रशासन और छात्र-केंद्रित नीतियों को प्रोत्साहित किया है, वह अभूतपूर्व है। उनके मार्गदर्शन में राज्य के विश्वविद्यालयों में
नैतिक मूल्य आधारित शिक्षा
(01)अनुसंधान एवं नवाचार को बढ़ावा(02)सामाजिक उत्तरदायित्व का विस्तार (03)गुणवत्तापूर्ण शिक्षण-प्रशिक्षण(04)महिला सुरक्षा एवं सशक्तिकरण(05)स्वच्छ परिसर अभियान(06) स्वास्थ्य एवं पोषण जागरूकता कार्यक्रम(07)नई शिक्षा नीति 2020 के प्रभावी कार्यान्वयन
जैसे अनेक क्षेत्र उल्लेखनीय रूप से सुदृढ़ हुए हैं।
उन्होंने कहा कि महामहिम का विशेष ध्यान पोषण, महिला कल्याण, बाल सुरक्षा, ग्रामीण विकास, शिक्षक क्षमता-वृद्धि, सक्षम प्रशासन और सामाजिक सहभागिता जैसे विषयों पर केंद्रित रहा है, जिसके कारण विश्वविद्यालयों में समाजोन्मुखी शिक्षा का नया वातावरण तैयार हुआ है।
प्रो. शर्मा ने यह भी कहा कि महामहिम के संरक्षण में उत्तर प्रदेश के विश्वविद्यालयों ने न केवल शैक्षणिक गुणवत्ता में सुधार का मार्ग प्रशस्त किया है, बल्कि पारदर्शिता, उत्तरदायित्व, नवाचार और शोध-उन्मुख वातावरण स्थापित करने की दिशा में ठोस कदम उठाए हैं।
उन्होंने विशेष रूप से उल्लेख किया कि महामहिम के सतत मार्गदर्शन से विश्वविद्यालयों में NAAC प्रत्यायन की प्रक्रिया तेज हुई है,स्वायत्तता एवं सुशासन को प्रोत्साहन मिला है,स्टार्टअप, इनक्यूबेशन, और नवाचार-इकोसिस्टम विकसित हुए हैं,संस्कृत तथा भारतीय ज्ञान परम्परा के संरक्षण और प्रसार को नया बल प्राप्त हुआ है।
कुलपति ने कहा कि संस्कृत विश्वविद्यालय, जो देश का अद्वितीयसंस्कृत-विश्वविद्यालय है, महामहिम के नेतृत्व से विशेष रूप से लाभान्वित हुआ है। विश्वविद्यालय में भारतीय ज्ञान परम्परा, वेद-वेदाङ्ग, दर्शन, योग, आयुर्वेद, वास्तु, ज्योतिष, संस्कृति एवं शास्त्रीय साहित्य के उन्नयन हेतु अनेक योजनाओं को नई गति मिली है।
विश्वविद्यालय परिवार की कामना
विश्वविद्यालय परिवार ने सम्पूर्णानन्द संस्कृत विश्वविद्यालय के समस्त शिक्षकगण, अधिकारी, कर्मचारी एवं छात्र-छात्राओं की ओर से ईश्वर से हृदयपूर्वक प्रार्थना की गई कि महामहिम श्रीमती आनंदीबेन पटेल जी दीर्घायु, स्वस्थ एवं प्रसन्नचित्त रहें तथा राष्ट्रनिर्माण, लोककल्याण और शिक्षा-समृद्धि के अपने पवित्र संकल्पों को निरंतर पूर्ण करती रहें।
कुलपति प्रो॰ शर्मा ने कहा कि विश्वविद्यालय परिवार स्वयं को सौभाग्यशाली मानता है कि उसे महामहिम का स्नेह, संरक्षण और प्रेरणा सतत प्राप्त होती है।
समाचार के अंत में कुलपति ने महामहिम को जन्मदिवस की हार्दिक, मंगलमय एवं स्वर्णिम शुभकामनाएँ देते हुए उनके उज्ज्वल, स्वास्थ्यपूर्ण और दीर्घ जीवन की कामना की ।।

