बिहार विधानसभा चुनाव 2025 से पहले मतदाता सूची में बड़े बदलाव को लेकर सोशल मीडिया पर बहस तेज़ है। वायरल पोस्टों में दावा किया जा रहा है कि नई वोटर लिस्ट में करीब 69 लाख नाम हटाए गए और 21 लाख नए मतदाता जोड़े गए हैं। इस दावे को लेकर कई यूज़र चिंतित हैं, जबकि कुछ लोग इसे हर चुनाव से पहले होने वाली नियमित शुद्धिकरण प्रक्रिया बता रहे हैं। इसी दौरान कुछ वीडियो यह आरोप भी लगा रहे हैं कि वोटर लिस्ट में “गड़बड़ी” या “अनियमितता” हुई है, हालांकि इन आरोपों की किसी भी आधिकारिक स्रोत ने पुष्टि नहीं की है। चुनाव आयोग पहले भी स्पष्ट कर चुका है कि पुनरीक्षण प्रक्रिया में मृतक, स्थानांतरित या डुप्लीकेट नाम हटाए जाते हैं। चुनावी माहौल गर्म होते ही वोटर लिस्ट, जातीय समीकरण और वोट बैंक जैसे मुद्दे चर्चा में आ गए हैं। उधर, कई नागरिक संगठनों ने चुनाव आयोग से पूरी प्रक्रिया को पारदर्शी तरीके से सार्वजनिक करने की मांग की है, ताकि भ्रम की स्थिति न बने देखे बिहार से राजेश शिवहरे की खास रिपोर्ट
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