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'ऑपरेशन सिंदूर को रोकने के लिए भारत के सामने गिड़गिड़ाई थी पाक सेना', UN में फिर खुली शहबाज के दावों की पोल
  • 151000003 - VAISHNAVI DWIVEDI 0 0
    26 Sep 2025 08:17 AM



 

संयुक्त राष्ट्र महासभा की बैठक में पाकिस्तान ने ऑपरेशन सिंदूर का जिक्र किया। इसके अलावा पाकिस्तानी पीएम ने यूएन में अपने संबोधन के दौरान कई झूठे दावे प्रस्तुत करने की कोशिश की। लेकिन भारत ने उनके हर एक झूठ को बेनकाब कर दिया। दरअसल, संयुक्त राष्ट्र महासभा में पाकिस्तान के पीएम के बयान पर कड़ी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि मई में ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पाकिस्तानी सेना ने लड़ाई बंद करने की याचना की थी। भारत ने साफ किया कि दोनों पड़ोसी देशों के बीच के मुद्दों पर किसी तीसरे पक्ष के हस्तक्षेप की कोई गुंजाइश नहीं है। यूएन में भारत ने पाकिस्तान को खूब सुनाया संयुक्त राष्ट्र में भारत के स्थायी मिशन में प्रथम सचिव पेटल गहलोत ने UNGA में भारत के उत्तर देने के अधिकार का उपयोग करते हुए कहा कि इसी सभा में पाकिस्तान के पीएम की बेतुकी बातें देखने को मिलीं। उन्होंने एक बार फिर से आतंकवाद का महिमामंडन किया, जो उनकी विदेश नीति का केंद्र है बता दें कि इस बैठक में पाकिस्तानी पीएम शहबाज शरीफ में दावा किया कि उनके देश ने भारत के साथ हालिया संघर्ष के दौरान युद्ध जीत लिया। इस दौरान उन्होंने अमेरिकी राष्ट्रपति को दोनों देशों के बीच संघर्ष विराम कराने के लिए धन्यवाद भी दिया। वहीं, उन्होंने कश्मीर का भी मुद्दा उठा दिया। शहबाज शरीफ के इस बयान पर भारत ने कड़ी आपत्ति जताई है।

भारत ने पाकिस्तान को दिखाया आईना

यूएन में शहबाज शरीफ के बयान पर भारत ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है। भारत ने तीखा जवाब देते हुए कहा कि अगर नष्ट हो चुके रनवे और जले हुए हैंगर जीत की तरह लगते हैं, जैसा कि प्रधानमंत्री ने दावा किया है, तो पाकिस्तान इसका आनंद ले सकता है। भारत की ओर से जवाब देते हुए पेटल गहलोत ने कहा कि हमने ऑपरेशन सिंदूर के दौरान बहावलपुर और मुरीदके आतंकी परिसरों में भारतीय सेना द्वारा मारे गए आतंकवादियों की कई तस्वीरें देखीं। उन्होंने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर को रोकने के लिए भारत के सामने पाक सेना गिड़गिड़ाई थी। 

'पाकिस्तान करता है आतंकियों का महिमामंडन'

पेटल गहलोत ने यूएन में बोलते हुए कहा कि जब वरिष्ठ पाकिस्तानी सैन्य और नागरिक अधिकारी सार्वजनिक रूप से ऐसे कुख्यात आतंकवादियों का महिमामंडन और सम्मान करते हैं, तो क्या इस शासन की प्रवृत्ति पर कोई संदेह हो सकता है? भारत ने आगे कहा कि भारत और पाकिस्तान लंबे समय से इस बात पर सहमत हैं कि उनके बीच किसी भी लंबित मुद्दे को द्विपक्षीय रूप से सुलझाया जाएगा। इस संबंध में किसी तीसरे पक्ष के लिए कोई गुंजाइश नहीं है।



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