फास्ट न्यूज इंडिया
चिनाब आर्च ब्रिज, अंजी खड्ड और कश्मीर तक सीधी रेल सेवा…, देश इस वक्त इन खास सौगातों का जश्न मना रहा है। इसे बनाने वाले अपनी उपलब्धि पर इतरा रहे हैं, विभाग के अफसर-कर्मचारी उद्घाटन समारोह के बाद मिशन उधमपुर-बारामुला-श्रीनगर रेल लिंक (यूएसबीआरएल) पूरा होने पर सुकून और गर्व महसूस कर रहे हैं।
इस परियोजना की शुरुआत से लेकर अंत तक इसे कभी रुकते और बढ़ते देखने वाले स्थानीय लोग अपनी-अपनी उम्र और अनुभव के हिसाब से हर रोज नई सोच के साथ नए सपने बुन रहे हैं। इनमें वे लोग भी शामिल हैं जिनकी जमीनों से होकर यह परियोजना गुजरी है।
एक बड़ी संख्या उन लोगों की है, जिन्हें इस योजना में रहकर रोजगार के अवसर मिले। अमर उजाला ने उनके जुड़ाव, उनके त्याग और उनकी उम्मीदों पर बात की।
पैसा, काम और सरकारी नौकरी भी मिलीइस रेल लिंक परियोजना के लिए पुलवामा, बारामुला, बडगाम, अनंतनाग, काजीगुंड के किसानों की जमीन का अधिग्रहण किया गया था। किसानों को इसके बदले पैसा तो मिला ही, साथ ही जिसकी तीन कनाल से अधिक जमीन अधिग्रहीत की गई, उसे काम भी मिला। कई किसानों को सरकारी नौकरी भी दी गई। पुलवामा के मलंगपोरा के निवासी जाविद अहमद ने बताया कि उनकी नौ कनाल जमीन रेल परियोजना लाइन के अंतर्गत ली गई थी।
