फास्ट न्यूज़ राजस्थान
*जयपुर:* डीडवाना-कुचामन. श्वानों को सभी वफादारी में सबसे वफादार माना जाता है और इस बार भी एक कुत्ते ने अपनी वफादारी का एक अद्भुत उदाहरण पेश किया है। डीडवाना-कुचामन जिले में एक ऐसा ही मामला सामने आया है, जहां भटककर अपने मालिक से बिछड़े हुए जानवरों को वापस लेकर आए एक श्वान ने अहम भूमिका निभाई और अपनी वफादारी ने सबसे पहले चकित कर दिया।
मकराना थाना क्षेत्र के जनरल बुडसू के बीट प्रभारी लाइट ड्रेच और सरपंच महावीर कूकना की ठोस विश्वसनीयता और पर्याप्त प्रयास से लाखों की कीमत के गम में डूबे स्मा को उसके असली मालिक तक पहुंचाया गया। इस घटना में एक वफादार कुत्ते ने कई दिनों तक भूखा-प्यासा साइंटिया की सुरक्षा की और अपने मालिक के प्रति वफादारी की वकालत करते हुए एक प्रेरणा संदेश दिया।
*गुम हुए जानवर 7 दिन बाद मालिक तक:*
करीब 7 दिन पहले रूपनगढ़ के झाग भिलावट गांव के निवासी सहदेव गुर्जर, साधुराम बावरी, हीराराम गुर्जर और धन्नाराम गुर्जर की आठवीं सवारी भैंसें, दो गायें और एक श्वान नदी (स्थानीय तालाब क्षेत्र) में चारते समय भटक गए। शाम को जानवर नदी में नहीं मिले तो उनके बदमाशों ने उन्हें घेरने की कोशिश की, लेकिन नहीं मिले। तीन दिन बाद भटकते हैं ये सभी जानवर बुडसू गांव।
*श्वान की निष्ठा:*
इस दौरान कुत्ता जो साथ था उसने अपने मालिक से बिछड़ने के बाद भी समुद्र की सुरक्षा में अपनी पूरी जिम्मेदारी निभाई। श्वान ने इन एसएलए की निगरानी की और किसी भी बाहरी व्यक्ति को पास नहीं दिया। कुत्ते की वफादारी और समझदारी ने गांववासियों और कर्मचारियों को भी चकित कर दिया। रात के समय जब निकोलस ने इन पड़ोसियों को गांव में देखा तो पहले मालिक की तलाश की, लेकिन जब वह नहीं मिले तो उन्होंने स्थानीय सरपंच महावीर कूकना और बीट ऑफिसर लाइट ड्राइड को सूचना दी। इसके बाद सभी साहिल को एक पैनल में सुरक्षित बंद कर दिया गया और मालिक के आने तक चारे-पानी की व्यवस्था की गई।
*पशुधन की वापसी:*
बीट ऑफिसर लाइट ड्राल्ड ने सोशल मीडिया के माध्यम से पूरी जानकारी शेयर की और मालिक की तलाश शुरू की। इस दौरान पशुधन के मालिक जो अपने पशुधन और भैंसों की तलाश में भटक रहे थे, उन्हें सोशल मीडिया के माध्यम से पशुधन में पशुधन के होने की जानकारी मिली और वे शनिवार को वहां पहुंच गए। पुलिस ने मालिक की पूरी तस्दीक और पशुधन की जांच के निर्देश दिए। पशुपालकों ने इस मदद के लिए रिवाल्वर, पुलिस, सरपंच और गाँव वालों के लिए मदद की।