फास्ट न्यूज इंडिया बुलंदशहर। औरंगाबाद कहने को तो प्रदेश सरकार द्वारा स्कूलों में बेहतर शिक्षा और वातावरण उपलब्ध करवाया जा रहा है, लेकिन स्कूलों की हालत को देखकर लगता है कि प्रदेश सरकार के यह दावे कागजों तक ही सीमित हैं। आपको बता दे की भावसी रोड स्थित कस्बा औरंगाबाद के नामचिन स्कूल नेशन पब्लिक स्कूल और विद्या भारती द्वारा संचालित सरस्वती शिशु मंदिर वह श्रद्धालुओं की आस्था का केंद्र कस्बे का एकमात्र प्राचीन नागेश्वर महादेव मंदिर और इन स्कूल को जाने वाले रास्ता बन चुका है तालाब करीब 3 महीने पहले शासन द्वारा प्राचीन नागेश्वर महादेव मंदिर से लेकर नेशन पब्लिक स्कूल तक सड़क बनाने का कार्य शुरू हुआ था जो कि ठेकेदार की लापरवाही के कारण लाल फीता शाही की भेट चढ चुका है ठेकेदार की लापरवाही और नगर पंचायत प्रशासन की लापरवाही बच्चों की जान पर पड़ रही भारी, आखिरकार देश का भविष्य और तैरकर जाना है थोड़ी सी भी बरसात होने के कारण मंदिर और स्कूल के जाने वाले मुख्य रोड पर पानी खड़ा होकर तालाब की शक्ल अख्तियार कर लेता है और स्कूली बच्चों को इस पानी में से होकर ही स्कूल आना-जाना पड़ता है। इन स्कूल में रोजाना हजारों बच्चे पढ़ने और श्रद्धालु मंदिर में पूजा करने जाते हैं इस कारण बच्चों की पढ़ाई में खलल पड़ता है। इस रास्ते पर लगातार पानी भरा होने के कारण मच्छर एवं गंदगी का आलम है, जिससे बीमारी फैलने का अंदेशा बना हुआ है। नगर निवासी एडवोकेट निखिल सिंघल नितिन सराफ जीतू गोस्वामी आदि ने बताया कि इस समस्या के समाधान के लिए नगर पंचायत प्रशासन और सरकार के नुमाइंदों से भी मौखिक एवं लिखित तौर पर गुहार की जा चुकी है, लेकिन समस्या ज्यों कि त्यों बनी हुई है। जबकि इस समय कावड़ यात्रा चल रही है और नगर का एकमात्र प्राचीन नागेश्वर मंदिर श्रद्धालुओं का रास्ता रोक सारी सड़क जलमग्न हो चुकी है नगर निवासियों का कहना है की योगी आदित्यनाथ की सरकार ने जैसी कार्यवाही बलिया में भ्रष्ट प्रशासन के खिलाफ की है ऐसी कार्रवाई अगर यहां भी हो जाए तो शायद नगर पंचायत प्रशासन जाग जाए और जल्द से जल्द इस समस्या का समाधान हो सके।