एचपी हमीरपुर। सांसद निधि से अब निर्धारित नियमों के अनुसार ही स्कूल पुस्तकालयों के लिए किताबों की खरीद होगी। शिक्षा विभाग द्वारा गत दिवस बिना टेंडर जारी किए गए किताबों के सप्लाई ऑर्डर अब रद्द कर दिए हैं। 01 जून 2023 के अंक में शिक्षा विभाग में बिना टेंडर और कोटेशन सांसद निधि से किताबों की खरीद के मामले को प्रमुखता से उठाया था। खबर प्रकाशित होने के बाद राज्य सभा सांसद और शिक्षा विभाग हरकत में आए। सांसद डॉ. सिकंदर कुमार ने वीरवार को खबर छपने के तुरंत बाद प्रारंभिक शिक्षा और उच्चतर शिक्षा विभाग हमीरपुर के उपनिदेशकों को पुस्तकों की खरीद में नियमों का पालन करने के बारे में लिखित में निर्देश जारी किए हैं। राज्य सभा सांसद ने बीते माह शिक्षा विभाग को स्कूल में स्थापित पुस्तकालयों में पुस्तकों की खरीदारी में 22 लाख रुपये जारी किए हैं। उन्होंने उपायुक्त शिमला आदित्य नेगी और उपायुक्त हमीरपुर हेमराज बैरवा को पुस्तकों की खरीद के लिए लिखित में निर्देश दिए थे। जिसके बाद प्रारंभिक शिक्षा हमीरपुर को छह लाख रुपये, जबकि उच्चतर शिक्षा विभाग हमीरपुर को पुस्तकों की खरीद के लिए 16 लाख रुपये जारी किए गए थे। गत दिवस दिल्ली के एक प्रकाशक ने हमीरपुर शिक्षा विभाग के उपनिदेशकों से मुलाकात कर बिना टेंडर 22 लाख रुपये की कीमत से खरीदी जाने वाली पुस्तकों के सप्लाई ऑर्डर हासिल कर लिए। जबकि, नियमों के अनुसार सरकारी विभागों में किसी भी चीज की खरीदारी के लिए जैम पोर्टल और हिमाचल प्रदेश राज्य इलेक्ट्रॉनिक्स विकास निगम के माध्यम से टेंडर व कोटेशन की प्रक्रिया अमल में लाई जानी जरूरी है, क्योंकि सरकारी धनराशि व्यय का बाद में ऑडिट भी होता है। पूर्व में कई मामले ऑडिट में फंस चुके हैं। उधर, राज्य सभा सांसद डॉ. सिकंदर कुमार ने कहा कि नियमों के विपरीत किताबों की खरीदारी नहीं की जा सकती। मामला ध्यान में आते ही इस बारे में शिक्षा उपनिदेशकों को लिखित में निर्देश दिए हैं। उच्चतर शिक्षा विभाग हमीरपुर की उपनिदेशक शकुंतला पटियाल ने कहा कि दिल्ली के प्रकाशक को जारी किया गया सप्लाई ऑर्डर रद्द कर दिया गया है। नियमों के तहत ही किताबों की खरीदारी होगी।
