क्या खरीदोगे बाजार बहुत महंगा है,
प्यार की जिद ना करो प्यार बहुत मांगा है।
चाहने वालों की एक भीड़ लगी रहती है,
आजकल आप का दीदार बहुत महंगा है।
इश्क में वादा निभाना कोई आसान नहीं,
करके पछताओगे इकरार बहुत महंगा है।
आज तक तुमने खिलौने ही खरीदे होंगे,
दिल है यह दिल मेरे सरकार बहुत महंगा है।
दे के ताज और हुकूमत भी खरीदा न गया,
आज मालूम हुआ प्यार बहुत मांगा है।
हम सुकून ढूंढने आए थे दुकानों में,
मगर फिर कभी देखेंगे इस बार बहुत महंगा है। मेहनगर रमेश चंद शर्मा की रिपोर्ट151119163
